समाधान दिवस में अचानक पहुंचे कमिश्नर सौम्या अग्रवाल व आईजी अजय कुमार मिश्रा, अफसरों को लगाई फटकार – लापरवाही पर होगी कार्रवाई

प्रतापगढ़।रानीगंज तहसील सभागार में शनिवार को संपूर्ण समाधान दिवस का आयोजन चल रहा था। रानीगंज एसडीएम अमित कुमार सिंह और क्षेत्राधिकारी रानीगंज विनय प्रभाकर साहनी की अध्यक्षता में फरियादियों की शिकायतें सुनी जा रही थीं। इसी दौरान अचानक मंडलायुक्त सौम्या अग्रवाल और आईजी अजय कुमार मिश्रा औचक निरीक्षण पर तहसील पहुंच गए। उनके अचानक पहुंचने से प्रशासनिक अमले में हड़कंप मच गया।

कमिश्नर और आईजी ने सभागार में प्रवेश करते ही फरियादियों की लंबी कतार देख नाराजगी जताई। उन्होंने कहा कि “जब समाधान दिवस का मकसद जनता की समस्याओं का निस्तारण करना है, तो फरियादी बार-बार थाना और तहसील के चक्कर क्यों काट रहे हैं?”


कमिश्नर सौम्या अग्रवाल ने मौके पर मौजूद अधिकारियों को सख्त लहजे में चेतावनी दी और कहा कि “जो भी अधिकारी समाधान दिवस में अनुपस्थित रहता है, उसका एक दिन का वेतन रोका जाए और कारण बताओ नोटिस जारी किया जाए।”

करीब एक घंटे तक कमिश्नर और आईजी ने तहसील सभागार में बैठकर फरियादियों की शिकायतें सुनीं। इस दौरान कई विभागीय अफसरों को उन्होंने फटकार लगाई और शिकायतों के त्वरित निस्तारण के निर्देश दिए।
कमिश्नर ने कहा कि सभी शिकायतों को ऑनलाइन दर्ज किया जाए ताकि सीएम पोर्टल से सीधे फीडबैक प्राप्त हो सके। उन्होंने चेतावनी दी कि “अगर कोई अधिकारी मौके पर नहीं जाता या मनमानी करता है तो उस पर कड़ी कार्रवाई की जाएगी।”

अधिवक्ताओं ने एसडीए को लेकर नाराजगी जताते हुए शिकायत की जिसके बाद कमिश्नर ने यह भी कहा कि तहसील और कोर्ट का संचालन बार और बेंच के आपसी सहयोग से होता है, ऐसे में अधिवक्ताओं को भी सकारात्मक भूमिका निभानी चाहिए। उन्होंने यह भी स्पष्ट किया कि शिकायतों की अधिक संख्या यह दर्शाती है कि संबंधित अधिकारी जनता की समस्याओं के निस्तारण में रुचि नहीं ले रहे।

आईजी अजय कुमार मिश्रा ने कहा कि उन्होंने तहसील में कई ऐसी शिकायतें देखीं, जिनका समाधान बहुत पहले हो जाना चाहिए था। उन्होंने कहा, “फरियादी बार-बार एक ही शिकायत लेकर आ रहे हैं, यह स्पष्ट रूप से अधिकारियों की लापरवाही को दर्शाता है।”


हालांकि उन्होंने क्षेत्राधिकारी रानीगंज विनय प्रभाकर साहनी की सराहना करते हुए कहा कि “पुलिस से जुड़ी शिकायतें कम हैं, यह दर्शाता है कि क्षेत्र में कानून-व्यवस्था की स्थिति संतोषजनक है।”
आईजी ने निर्देश दिया कि सभी थानेदार समाधान दिवस पर अनिवार्य रूप से उपस्थित रहें, और जो अनुपस्थित पाए जाएं, उनके एक दिन का वेतन काटकर रिपोर्ट भेजी जाए।

इस दौरान कई फरियादी अपनी समस्याओं को लेकर पहुंचे।
सत्य प्रकाश सिंह पुत्र कृष्णदेव सिंह, जो कमिश्नर से मिल नहीं पाए, मीडिया से बातचीत के दौरान भावुक होकर रो पड़े। बाद में कमिश्नर ने उनका आवेदन लिया और संबंधित अधिकारियों को तत्काल कार्रवाई के निर्देश दिए।

वहीं फतनपुर थाना क्षेत्र के बृजेश कुमार शुक्ला, एक बुजुर्ग फरियादी ने बताया कि उसकी फसल काटकर पड़ोसी ने 2.5 फीट दीवार खड़ी कर दी, लेकिन शिकायत के बाद भी कोई कार्रवाई नहीं हुई। इस पर आईजी ने सीओ रानीगंज को तत्काल जांच कर निस्तारण की रिपोर्ट देने का निर्देश दिया।

इसके अलावा राजेश तिवारी निवासी देवीगंज, शशिकांत पांडेय निवासी लिलहा, और अर्चना त्रिपाठी निवासी संग्रामगढ़ ने भी अपनी समस्याएं कमिश्नर के समक्ष रखीं। इनकी शिकायतें राजस्व और पुलिस दोनों से संबंधित थीं, जिन पर तत्काल जांच के निर्देश दिए गए।

कमिश्नर सौम्या अग्रवाल ने कहा कि प्रशासन का लक्ष्य यह होना चाहिए कि कोई भी फरियादी असंतुष्ट न लौटे। सभी अधिकारी अपने-अपने विभागों में जनता से जुड़ी शिकायतों का समयबद्ध और गुणवत्तापूर्ण निस्तारण सुनिश्चित करें।

बार और कोर्ट में सहयोग की अपील

कमिश्नर ने कहा कि तहसील दिवस की कार्यवाही में बार और कोर्ट दोनों का सहयोग आवश्यक है।
उन्होंने कहा कि न्याय की प्रक्रिया तभी प्रभावी हो सकती है जब अधिवक्ता और प्रशासन एक साथ काम करें।

> “हम सबका उद्देश्य एक है — जनता को राहत देना। इसलिए कोर्ट और बार मिलकर काम करें ताकि समाधान दिवस का असर जमीन पर दिखे।”

कमिश्नर ने कहा — शिकायतें ऑनलाइन दर्ज हों, सीएम भी ले रहे हैं फीडबैक

मंडलायुक्त सौम्या अग्रवाल ने कहा कि अब सभी शिकायतें ऑनलाइन दर्ज की जाएं ताकि शिकायतकर्ता से सीधे फीडबैक लिया जा सके।
उन्होंने कहा कि मुख्यमंत्री स्वयं जनता से वार्ता कर चुके हैं और हर शिकायत पर यह देखा जाएगा कि संबंधित अधिकारी मौके पर गए या नहीं।

> “अगर अधिकारी मौके पर नहीं गया तो उसकी जवाबदेही तय होगी। शिकायतों का निस्तारण सिर्फ कागजों में नहीं, जमीन पर दिखना चाहिए,” उन्होंने कहा।

आईजी ने कहा — पुलिस की शिकायतें कम, लेकिन लापरवाही बर्दाश्त नहीं

आईजी अजय कुमार मिश्रा ने समाधान दिवस में आई शिकायतों को देखा और कहा कि रानीगंज क्षेत्र में पुलिस से संबंधित शिकायतें कम हैं, जो कि एक सकारात्मक संकेत है।
उन्होंने सीओ रानीगंज विनय प्रभाकर साहनी की प्रशंसा करते हुए कहा कि क्षेत्र में पुलिस लगातार सक्रिय है।
हालांकि उन्होंने यह भी जोड़ा कि कई शिकायतें ऐसी हैं जिनका निस्तारण पहले ही हो जाना चाहिए था।
आईजी ने सख्त निर्देश दिया,

> “संपूर्ण समाधान दिवस पर सभी थानेदार स्वयं मौजूद रहें। जो अधिकारी अनुपस्थित रहेंगे, उनके खिलाफ कार्रवाई की जाएगी और एक दिन का वेतन काटा जाएगा।”

जनता की आवाज — नहीं सुन रहे अधिकारी, बार-बार करना पड़ता है चक्कर

समाधान दिवस में कई फरियादी अपनी व्यथा लेकर पहुंचे थे।
सत्य प्रकाश सिंह पुत्र कृष्णदेव सिंह का कहना था कि वह अपनी समस्या लेकर कई बार आए लेकिन अधिकारी से मिल नहीं पाए। मुलाकात न हो पाने से वे मीडिया के सामने रो पड़े। हालांकि कमिश्नर ने उनका आवेदन लेकर अधिकारियों को तत्काल कार्रवाई का निर्देश दिया।

थाना फतनपुर क्षेत्र से पहुंचे बुजुर्ग बृजेश कुमार शुक्ला ने बताया कि उनके खेत की फसल काटकर पड़ोसी ने 2.5 फीट दीवार खड़ी कर दी है, परंतु शिकायत के बाद भी कोई कार्रवाई नहीं हुई। इस पर आईजी ने सीओ रानीगंज को मामले की जांच कर जल्द निस्तारण करने का निर्देश दिया।

महिला फरियादी सुनीता देवी ने बिजली कनेक्शन काटे जाने की शिकायत की, जबकि राजेश यादव ने जमीन विवाद में राजस्व कर्मियों की लापरवाही बताई।
वृद्धा रामदुलारी ने कहा कि उसकी पेंशन बंद है और महीनों से चक्कर लगा रही हैं।
इन सभी मामलों को सुनने के बाद कमिश्नर ने तत्काल अधिकारियों को मौके पर जाकर समाधान करने को कहा।

निरीक्षण के दौरान अधिकारियों के साथ-साथ आम जनता भी उनकी सख्ती देखकर उत्साहित नजर आई।

अंत में जनता को भरोसा — “हर शिकायत का होगा समाधान”

निरीक्षण के समापन पर मंडलायुक्त सौम्या अग्रवाल ने कहा कि शासन की मंशा साफ है —

> “हर फरियादी की बात सुनी जाएगी, हर शिकायत का समाधान होगा। लापरवाही करने वाला अधिकारी अब बख्शा नहीं जाएगा।”

आईजी अजय कुमार मिश्रा ने कहा कि पुलिस और प्रशासन मिलकर जनता की शिकायतों को हल करेंगे। उन्होंने कहा कि आने वाले समाधान दिवसों में सभी अधिकारी समय से पहुंचे और जनता को न्याय दिलाने में देरी न करें।

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