रूबरू इण्डिया
लखनऊ। उत्तर प्रदेश में विद्युत बिलों की दर सरकार नहीं बल्कि उत्पादन और वितरण करने वाली निजी कंपनियां करेंगी। प्रदेश सरकार बिजली अधिनियम 2021 में यह संशोधन विधेयक लेकर आ रही है जिसको लेकर विद्युत कर्मचारी संगठन विरोध पर उतर आए हैं।
विद्युत कर्मचारियों के संगठन के नेता शैलेंद्र दुबे ने कहा कि इस संशोधन विधेयक से बिजली वितरण से जुड़ी कंपनियों को लूटने का मौका मिल गया है।
उन्होंने बताया कि जिस तरह डीजल पेट्रोल और गैस के दाम प्रतिदिन बढ़ रहे हैं उसी तरह उत्तर प्रदेश में बिजली के दाम बढ़ाने की तैयारी है जिससे जहां आम उपभोक्ताओं को बड़ी मुसीबत का सामना करना पड़ेगा वही बिजली विभाग के निजी करण से लाखों विद्युत कर्मचारियों का भविष्य और नौकरियां खतरे में पड़ जाएंगी।
मिली जानकारी के मुताबिक प्रधानमंत्री के संसदीय क्षेत्र वाराणसी में बहुत बड़े विरोध प्रदर्शन की तैयारी है जिस की तारीख जल्द ही तय की जाएगी