छत्तीसगढ़-आंध्र प्रदेश बार्डर पर बुधवार देर रात एक युवक का शव पड़ा मिला है। जानकारी मिलने पर ग्रामीण उसे सुबह उठाकर गांव ले आए। बताया जा रहा है कि युवक की हत्या नक्सलियों ने जन अदालत लगाकर की है। हालांकि इसकी आधिकारिक पुष्टि नहीं हो सकी है। मारा गया युवक हत्या का आरोपी था। उसके ऊपर केस दर्ज है। सूचना मिलने के बाद पुलिस मौके पर पहुंची, लेकिन गांव वाले शव उठाने नहीं दे रहे हैं।
जानकारी के मुताबिक, छत्तीसगढ़ से लगे चिंतुर मंडल के बंडीरेवू व मेहता के बीच जंगलों में युवक का शव मिला था। उसकी पहचान सुकमा जिले के कोलाईगुड़ा निवासी माड़वी राजकुमार के रूप में हुई है। वह साल 2005 में सलवा जुडूम के समय बंडी रेवू चला गया था। घटना की जानकारी लगते ही रात में ही परिजन और ग्रामीण उसके शव को ग्राम बंडी रेवू लेकर आ गए। हत्या के बाद से ग्रामीण दहशत में है। कोई कुछ बोल नहीं रहा है।
मारा गया युवक माड़वी राजकुमार।
मारा गया युवक माड़वी राजकुमार।
जमीन विवाद में गांव के पटेल की हत्या का था आरोपी
बताया जा रहा है कि माड़वी राजकुमार पर जमीन विवाद में गांव के पटेल की हत्या का आरोप भी है। इसको लेकर उसके खिलाफ मामला भी दर्ज था। ऐसे में आपसी रंजिश में भी हत्या की आशंका जताई जा रही है। अभी तक राजकुमार की हत्या के संबंध में ज्यादा जानकारी सामने नहीं आ सकी है। बार्डर इलाका होने का कारण ज्यादा संदेह नक्सलियों पर ही जा रहा है। पुलिस अफसरों की ओर से अभी इस बारे में कुछ नहीं बताया गया है।
एनकाउंटर के बाद नक्सली कर रहे थे तलाश
बताया जा रहा है कि 23 अगस्त को पुलिस ने बटेरगांव में एलओएस कमांडर हूंगा और बंजारी को घेर कर पकड़ने की कोशिश की थी। हालांकि पुलिस को देखकर उन्होंने फायरिंग की। जिसकी जवाबी कार्रवाई में दोनों नक्सली मारे गए। इसकी मुखबिरी को लेकर नक्सली लगातार तलाश में थे। माड़वी राजकुमार के हत्या को लेकर आशंका जताई जा रही है कि उसी एनकाउंटर के मुखबिरी होना बता कर उसे मौत की सजा दी गई होगी।
जन अदालत लगाकर एक साल में 9 हत्याएं
छत्तीसगढ़ में नक्सलियों ने पिछले एक साल के दौरान जन अदालत लगाकर 9 से ज्यादा लोगों की हत्या की है। ज्यादातर पर पुलिस का मुखबिर होने का संदेह जताया था।
12 नंवबर 2021 : कांकेर में नक्सलियों ने जन अदालत लगाकर अपने ही साथी का गला रेत दिया था।
17 नवंबर 2020 को नक्सलियों ने सुकमा के जंगलों में जन अदालत लगाकर 2 युवकों की हत्या की थी।
21 अक्टूबर 2020 को नक्सलियों ने बीजापुर में एक आरक्षक को अगवा कर जन अदालत लगा उसकी हत्या की थी।
साल 2020 में ही नक्सलियों ने नारायणपुर के अबूझमाड़ में 2 युवकों पर पुलिस मुखबिरी का आरोप लगा कर गला रेत का हत्या की थी।
साल 2020 में कांकेर जिले में नक्सलियों ने जन अदालत लगा कर एक पूर्व सरपंच की हत्या की थी।
साल 2020 में कांकेर जिले में एक दिव्यांग युवक की हत्या कर शव सड़क किनारे फेंका था। उस पर भी पुलिस मुखबिरी का आरोप लगाया गया था।
साल 2020 में सुकमा जिले में ही नक्सलियों ने एक ग्रामीण पर पुलिस मुखबिरी का आरोप लगा कर जन अदालत लगा उसकी हत्या कर दी थी।
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